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दूरस्थ क्षेत्रों तक पहुंचे योजनाओं का लाभः जिलाधिकारी

रुद्रप्रयाग। कलक्ट्रेट सभागार में जिलाधिकारी प्रतीक जैन की अध्यक्षता में जिला स्तरीय पुनरीक्षण समिति (डीएलआरसी) एवं आरसेटी सलाहकार समिति की बैठक आयोजित की गई, जिसमें डीएम ने जनपद में संचालित विभिन्न सरकारी जनकल्याणकारी एवं स्वरोजगार योजनाओं की गहन समीक्षा की तथा संबंधित विभागों एवं बैंकों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। बैठक में संबंधित अधिकारी ने चक्षु पोर्टल की भी जानकारी देते हुए बताया कि चक्षु पोर्टल भारत सरकार के दूरसंचार विभाग की संचार साथी पहल का एक महत्वपूर्ण भाग है, जिसका उद्देश्य नागरिकों को टेलीफोन आधारित धोखाधड़ी, साइबर अपराध तथा वित्तीय फरेब से बचाने हेतु जागरूक और सशक्त बनाना है। इस संबंध में सभी अधिकारियों को विस्तृत जानकारी प्रदान की गई।
तत्पश्चात बैठक में मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन, प्रधानमंत्री स्वनिधि योजना, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम, मुख्यमंत्री स्वरोजगार (नैनो) योजना, वीर चंद्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री मुद्रा योजना, दीनदयाल उपाध्याय होमस्टे योजना, किसान क्रेडिट कार्ड योजना एवं फसल बीमा योजना सहित अन्य योजनाओं की प्रगति पर विस्तृत चर्चा की गई। जिलाधिकारी ने कहा कि ये योजनाएं सरकार की प्राथमिकता में हैं, अतः जिन बैंकों में ऋण स्वीकृति लंबित है, वे इसे शीघ्र निस्तारित करें। उन्होंने निर्देशित किया कि ऋण आवंटन की टाइमलाइन को अनावश्यक रूप से लंबित न रखा जाए तथा ऋण स्वीकृति या अस्वीकृति की स्थिति में उसका स्पष्ट कारण संबंधित विभाग को अवश्य बताया जाए।
बैठक के दौरान अपने निर्धारित लक्ष्यों को सफलतापूर्वक प्राप्त करने वाले विभागों एवं बैंकों को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन और कार्यकुशलता की सराहना करते हुए स्मृति चिन्ह प्रदान किए गए। सम्मानित संस्थानों को भविष्य में भी इसी प्रकार उत्कृष्ट कार्य जारी रखने के लिए प्रोत्साहित किया गया, ताकि विकास कार्यों की गति और अधिक सुदृढ़ हो सके।
बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने बैंकों की वार्षिक ऋण योजना की समीक्षा करते हुए ऋण-जमा अनुपात की स्थिति पर विशेष रूप से चर्चा की। इस क्वाटर में सी डी रेश्यो 28.45 रहा, उन्होंने कहा कि जिन बैंकों का सीडी रेश्यो अपेक्षाकृत कम है, वे प्रभावी कार्ययोजना बनाकर इसमें सुधार लाएं।
उन्होंने सभी बैंकों को निर्देशित किया कि वे जनपद की भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए अधिकाधिक पात्र लाभार्थियों को ऋण वितरण कर ऋण-जमा अनुपात में वृद्धि सुनिश्चित करें।
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी राजेन्द्र सिंह रावत, निदेशक आरसेटी अरुण कुमार, एगीएम आरबीआई धीरज कुमार, लीड बैंक अधिकारी अनूप सिंह, डीडीएम नाबार्ड नेहा, महाप्रबंधक जिला उद्योग केंद्र महेश प्रकाश, मुख्य कृषि अधिकारी लोकेंद्र बिष्ट, जिला पर्यटन अधिकारी राहुल चौबे, जिला समाज कल्याण अधिकारी टी.आर. मलेठा सहित विभिन्न बैंक प्रतिनिधि एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

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